खरी खरी - 630 : चाह है तो कर्म जरूरी (कोरोना भी घर आना नहीं चाहता )
(आज लौकडाउन का 54/54वां दिन है । इस तरह तीसरा लौकडाउन पूरा हुआ । अब आगे के प्रतीक्षा । विश्व को कोरोना संक्रमित/मृत संख्या 47.19/3.13 लाख और देश में यही संख्या 89+/2.8+ हजार हो गई है । घर में रहें और लौकडाउन तथा कर्मवीरों का सम्मान करें । आज कविता ' चाह है तो कर्म जरूरी ' पर दृष्टि डालिए ।)
भोजन सभी को चाहिए लेकिन
खेती करना कोई नहीं चाहता,
पानी सभी को चाहिए लेकिन
पानी बचाना कोई नहीं चाहता,
दूध सभी को चाहिए लेकिन
गाय पालना कोई नहीं चाहता,
छाया सभी को चाहिए लेकिन
पेड़ लगाना कोई नहीं चाहता,
बहू सभी को चाहिए पर
बेटी बचाना कोई नहीं चाहता,
सफलता सबको चाहिये लेकिन
परिश्रम करना कोई नहीं चाहता ,
जागृति सभी चाहते हैं पर
जागरूकता करना कोई नहीं चाहता ।
नशे से नफरत सभी करते हैं पर
घर के नशेड़ी को कोई नहीं टोकता ।
कोरोना से सभी बचना चाहते हैं
लेकिन लौकडाउन कोई नहीं चाहता ।
घर में रहो सभी कह रहे हैं लेकिन
घर में रहना कोई नहीं चाहता ।
तुम यदि घर में ही रहे, बाहर न निकल तो
कोरोना भी तुम्हारे घर आना नहीं चाहता ।
पूरन चन्द्र काण्डपाल
17.05.2020
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