खरी खरी - 875 : 'थैंक यू' जहां-तहां थूकने वालो
शब्द-जालों के भ्रामक विज्ञापन पान मसालों के बारे में हम आए दिन देख- सुन रहे हैं | बड़े नामचीन सेलिब्रिटी विज्ञापन दे रहे हैं भले ही वे उस उत्पाद को न खाते हों । पाउच पर महीन अक्षरों में जरूर लिखा है, “पान मसाला चबाना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है" | पान मसाला, गुट्का, तम्बाकू, खैनी, जर्दा चबाने वालों और धूम्रपान करने वालों को अनभिज्ञता के कारण अपनी देह की चिंता नहीं है परन्तु इन्होंने सड़क, शौचालय, स्कूल, अस्पताल, दफ्तर, रेल- बस स्टेशन, कोर्ट- कचहरी, थाना, गली- मुहल्ला, सीड़ी- जीना, यहां तक कि श्मशान घाट - कब्रिस्तान तक अपनी गंदी करतूत से लाल कर दिया है |
कोरोना के इस दौर में सार्वजनिक स्थानों पर थूकना बहुत गंभीर है । यदि वह रोगी है तो उसके थूकते समय ड्रोप्लेट (थूक के बहुत बारीक कण जो हवा में दूर तक तैरते हैं ) इंफेक्शन जरूर फैलेगा। इस दौर में तो सभी तम्बाकू और गुटका उत्पाद बंद होने चाहिए क्योंकि इनसे थूकने की प्रवृति बढ़ती है । बस से बैठे-बैठे बाहर थूकना, कार से थूकना, दो-पहिये या रिक्शे से थूकना इनकी आदत बन गयी है | पान-सिगरेट की दुकान पर, फुटपाथ, दिवार या कोना सब इनकी काली करतूत से लाल हो गये हैं | जहां-तहां थूकने वालों का यह नजारा राजधानी दिल्ली सहित पूरे देश का है | क़ानून बना है पर उसकी अवहेलना हमारे देश में आम बात है | क़ानून बनाने वाले और क़ानून के पहरेदार भी क़ानून की परवाह नहीं करते | हरेक थूकने वाले के पीछे पुलिस भी खड़ी नहीं हो सकती है |
इन थूकने वालों को देख मसमसाने के बजाय, दो शब्द इन्हें “थैंक यू” कहने की हिम्मत जुटा कर हम स्वच्छता अभियान के भागीदार तो बन सकते हैं | “थैंक यू” इसलिए कि न लड़ सकते हैं और लड़ने से बात भी नहीं बनने वाली | हम तो अपने घर के बन्दे से भी इस मुद्दे पर कुछ कहने से डरते हैं | गुटका खाने वाला पति अपनी पत्नी की नहीं सुनेगा परन्तु यदि उसके बच्चे पिता को कैंसर के प्रति सचेत करें तो बात बन सकती है। बेटियां और बेटे दोनों ही बहुत महत्वपूर्ण रोल अदा कर सकते हैं पिता के किसी भी नशे को छुड़ाने में । कार्य शुरु करने से पहले ही डरने की जरूरत नहीं, करके तो देखिए । इन पंक्तियों के लेखक ने अपने बूढ़े पिता को समझाकर उनसे धूम्रपान छुटाया था । बाजार में प्रत्येक पान या गुटका विक्रेता की दुकान के बाहर लोगों ने थूक कर वहां की जमीन लाल कर दी है । इसे कौन रोकेगा ?
पूरन चन्द्र काण्डपाल
23.06.2021
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