खरी खरी - 811 : कभैं आपूहैं पुछो ?( वैक्सीन लगौ )
भाग्यक भरौस पर
तमगा नि मिलन
पुज-पाठ भजन हवनल
मैदान नि जितिन,
पसिण बगूण पड़ूं
जुगत लगूण पणी,
कभतै हिटि माठु माठ
कभतै दौड़ लगूण पणी ।
कोरोना देखि नि डरो
गंड -टोटकों है दूर रौ
डाक्टरों कि बात सुनो
हाथ धुण नि भुलो
भीड़ में नि घुसो
खासै काम पर भ्यार जौ
देर नि करो वैक्सीन लगौ
वैक्सीन लगूण में नि डरो ।
हम पढ़ी -लेखी हाय
पढ़ी लेखियां जस
काम नि करैं राय ,
गिचम दै किलै जमैं थौ
आपू हैं नि पुछैं राय,
मरि-झुकुड़ि बेर कुण नि बैठो
ज्यौना चार कभैं त जुझो,
किलै मरि मेरि तड़फ
किलै है रयूं चुप
कभैं आपूहैं पुछो ?
पूरन चन्द्र काण्डपाल
19. 03 .2021
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