खरी खरी - 963 : कथां गे विद्रोह कि हिम्मत ?
मि पढ़ी लेखी छयूं
पहाड़ है भ्यार काम करैं रयूं,
पहाड़ में काम नि मिल
भ्यार धाक- फच्चेक खां रयूं,
घर ऐ बेर गणतु-जगरियां क
चक्कर में ऐ जां रयूं,
उनार कूण पर मंदिरों में
बकार -मुर्ग काटें रयूं,
दुनिय में यस कैं नि हुन
जस पहाड़ में देखै रयूं,
काम य भौत गलत छ
भलीभांत समझण लै रयूं,
विद्रोह करण कि हिम्मत हरैगे
घुटि घुटि बेर मरैं रयूं ।
पूरन चन्द्र कांडपाल
21.11.2021
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